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स्मार्ट निवेश

स्मार्ट निवेश
रंजीता पठारे, बेंगलुरु
नौकरी पेशा लोग हो या कोई बिजनेसमैन, सभी को अपने भविष्य की चिंता लगी रहती है. सभी चाहते हैं कि एक समय के बाद उन्हें हर महीने इतना पैसा मिलता रहे जिससे कि उन्हें किसी के ऊपर आर्थिक रूप से आश्रित नहीं रहना पड़े. यदि आप भी ऐसा ही चाहते हैं तो आज हम आपको बताने वाले हैं इन्वेस्टमेंट का स्मार्ट तरीका. जिसकी शुरुआत में आपको आपने वेतन से छोटा सा निवेश हर महीने करना होगा, लेकिन एक समय बाद आपको बड़ा मुनाफ़ा मिलेगा.

NCDEX में कॉटन-जौ-कॉफी के भाव में तेजी, जानिए आज किस रेट पर बिक रहा है चना-गेहूं और बाजरा
किसी अच्छे म्यूचुअल फंड स्कीम का करें चुनाव
सबसे पहले आपको किसी अच्छी म्यूचुअल फंड स्कीम का चुनाव करना होगा. इसके लिए चाहे तो आप मार्केट पर रिसर्च करके चुनाव कर सकते हैं यह फिर किसी विशेषज्ञ से सलाह ले सकते हैं. अब आपको उसमें एसआईपी बनवाकर निवेश करना होगा. कई लोग फ़ासी समय तक बाजार पर नजर बनाकर रखते हैं, जिसके बाद ही निवेश करते हैं क्योंकि म्यूचल फंड बाजार जोखिमों के अधीन होते हैं.

उदाहरण के लिए

मान लीजिये आज आपकी उम्र 30 साल है. आने वाले 30 साल बाद आपको एक बड़ी रकम की आवश्यकता होगी. तो ऐसे में आप केवल 3500 रुपये हर महीने निवेश करिए. जो 30 साल तक जारी रहेगा. इस स्कीम में आपको सालाना 12 प्रतिशत का रिटर्न मिल सकता है. ऐसे में 30 साल बाद जब आप 60 साल के होंगे तब आपके पास लगभग 1.23 करोड़ रुपये एकत्रित हो जाएंगे.

मुंबई में स्मार्ट मीटर लगाने पर 500 करोड़ रुपये निवेश करेगी अदाणी इलेक्ट्रिसिटी

अदाणी ट्रांसमिशन की सहायक कंपनी AEML ने कहा कि स्मार्ट मीटर लगाने के पहले चरण में कंपनी सात लाख उपभोक्ताओं तक पहुंचेगी और बाकी 20 लाख उपभोक्ताओं को भी वित्त वर्ष 2024-25 के अंत तक स्मार्ट मीटर सौंप दिए जाएंगे। AEML के मुख्य परिचालन अधिकारी कपिल शर्मा ने यहां संवाददाताओं से कहा कि अब तक मुंबई क्षेत्र में 1.10 लाख स्मार्ट मीटर लगाए जा चुके हैं और पहले चरण के बाकी 5.90 लाख स्मार्ट मीटर भी दिसंबर, 2023 तक लगा दिए जाएंगे।

शर्मा ने कहा कि स्मार्ट मीटर लगने के बाद उपभोक्ताओं को बिजली खपत के बारे में तत्काल पता चल पाएगा और कंपनी को भी बिलों का भुगतान जुटाने में सहूलियत होगी। अगर समय पर बिल का भुगतान नहीं होगा तो स्मार्ट मीटर को दूर से ही निष्क्रिय किया जा सकता है। कंपनी के प्रबंध निदेशक एवं मुख्य कार्यपालक अधिकारी कंदर्प पटेल ने कहा कि प्रत्येक स्मार्ट मीटर पर करीब 1,000 रुपये की अतिरिक्त लागत आएगी। लेकिन इसे लगाने पर होने वाले खर्च की भरपाई आसानी से हो जाएगी।

पटेल ने कहा कि स्मार्ट मीटर (Smart Meter) लगाने पर लगने वाले 500 करोड़ रुपये का इंतजाम आंतरिक स्रोतों से किया जाएगा लेकिन इसका बोझ आखिर में बिजली उपभोक्ताओं को ही उठाना होगा। उन्होंने कहा कि इस तरह के मीटर से लाभ अधिक होगा और बढ़ा बिल आने की संभावना घटेगी। AEML पिछले चार साल से देश की आर्थिक राजधानी में बिजली का वितरण कर रही है। उस समय इसने अनिल अंबानी समूह की कंपनी रिलायंस एनर्जी (Reliance Energy) का 18,000 करोड़ रुपये में अधिग्रहण किया था।

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भावना और आशीष को रजत से करना पड़ा संतोष

वर्ष 2025-26 तक वंदे भारत को निर्यात करने लगेगा रेलवे

नई दिल्ली, प्रेट्र: रेलवे 2025-26 तक यूरोप, दक्षिण अमेरिका और पूर्वी एशिया के बाजारों में वंदे भारत रेलगाड़ियों का निर्यात करने की तैयारी कर रहा है। एक अधिकारी ने बताया कि शयनयान श्रेणी वाली स्वदेशी रेलगाड़ियों का नया संस्करण 2024 की पहली तिमाही तक आ जाएगा।

'समृद्ध भारत दूसरों की कीमत पर नहीं बनेगा '

नई दिल्ली, एजेंसी। रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने शुक्रवार को कहा कि भारत ऐसी अंतरराष्ट्रीय व्यवस्था में विश्वास नहीं रखता, जहां कुछ को दूसरों से श्रेष्ठ माना जाता है। उन्होंने कहा कि मजबूत, समृद्ध भारत दूसरों की कीमत पर नहीं बनेगा, भारत दूसरों को उनकी पूरी क्षमता का एहसास कराने में मदद करने के लिए यहां है।

प्रौद्योगिकी ने भारत को 'साफ्टवेयर पावर' बनाया : जगदीप धनखड

उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने शुक्रवार को कहा कि प्रौद्योगिकी ने सही अर्थों में शासन का लोकतांत्रिकरण कर इसे अमल योग्य एवं जवाबदेह बनाया है। उन्होंने कहा कि प्रौद्योगिकी ने भारत को 'साफ्ट पावर' से वैश्विक कल्याण के लिए 'साफ्टवेयर पावर' के रूप में परिवर्तित किया है। उपराष्ट्रपति धनखड़ ने ग्रेटर नोएडा में 'यूनेस्को इंडिया अफ्रीका हैकाथान-2022' के समापन समारोह को संबोधित किया ।

दिल्ली में 2020 से नवंबर की सबसे सर्द सुबह दर्ज

राष्ट्रीय राजधानी में शुक्रवार को पिछले दो साल में नवंबर की सबसे सर्द सुबह रही । न्यूनतम तापमान 7.8 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया, जो सामान्य से चार डिग्री सेल्सियस कम है। भारत मौसम विज्ञान विभाग ने यह जानकारी दी। मौसम कार्यालय ने पूरे दिन आसमान में आंशिक रूप से बादल छाए रहने का अनुमान जताया है, जबकि अधिकतम तापमान 27 डिग्री सेल्सियस रहने का अनुमान है।

अमेरिका ने एक बार फिर से भारत के साथ उसके संबंधों को विश्व स्तर पर अहमियत दी

अमेरिका ने एक बार फिर से भारत के साथ उसके संबंधों को विश्व स्तर पर अहमियत दी है।

भारत और न्यूजीलैंड के बीच दूसरे टी-20 मैच पर भी बारिश का साया

भारत और न्यूजीलैंड के बीच यहां रविवार को होने वाले दूसरे टी-20 अंतरराष्ट्रीय मैच पर भी बारिश का साया है।

सबसे छोटी ईवी में होगी फीचर्स की भरमार

एमजी ने भारत में अपनी एंट्री लेवल इलेक्ट्रिक कार लाने की तैयारी कर ली है। आने वाली 5 जनवरी को कंपनी अपनी इलेक्ट्रिक कार एयर ईवी से पर्दा उठाएगी। इसके बारे में फिलहाल जो जानकारी हमारे पास है, उसके अनुसार एयर ईवी इंडोनेशिया में इसी नाम से वुलिंग ब्रांड के अंतर्गत बेची जा रही है।

महात्मा गांधी के प्रपौत्र भी चले राहुल के संग-संग

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विदेशी कंपनियां भारत में स्मार्ट निवेश हाइपरलूप तकनीक लाने इच्छुक: नीति आयोग

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Smart Investment Tips: इस छोटे से निवेश से हर महीने मिल सकता है 50 हजार का ब्याज

इस निवेश की शुरुआत में आपको आपने वेतन से छोटा सा निवेश हर महीने करना होगा, लेकिन एक समय बाद आपको बड़ा मुनाफ़ा मिलेगा.

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रंजीता पठारे, बेंगलुरु
नौकरी पेशा लोग हो या कोई बिजनेसमैन, सभी को अपने भविष्य की चिंता लगी रहती है. सभी चाहते हैं कि एक समय के बाद उन्हें हर महीने इतना पैसा मिलता रहे जिससे कि उन्हें किसी के ऊपर आर्थिक रूप से आश्रित नहीं रहना पड़े. यदि आप भी ऐसा ही चाहते हैं तो आज हम आपको बताने वाले हैं इन्वेस्टमेंट का स्मार्ट तरीका. जिसकी शुरुआत में आपको आपने वेतन से छोटा सा निवेश हर महीने करना होगा, लेकिन एक समय बाद आपको बड़ा मुनाफ़ा मिलेगा.

NCDEX में कॉटन-जौ-कॉफी के भाव में तेजी, जानिए आज किस रेट पर बिक रहा है चना-गेहूं और बाजरा
किसी अच्छे म्यूचुअल फंड स्कीम का करें चुनाव
सबसे पहले आपको किसी अच्छी म्यूचुअल फंड स्कीम का चुनाव करना होगा. इसके लिए चाहे तो आप मार्केट पर रिसर्च करके चुनाव कर सकते हैं यह फिर किसी विशेषज्ञ से सलाह ले सकते हैं. अब आपको उसमें एसआईपी बनवाकर निवेश करना होगा. कई लोग फ़ासी समय तक बाजार पर नजर बनाकर रखते हैं, जिसके बाद ही निवेश करते हैं क्योंकि म्यूचल फंड बाजार जोखिमों के अधीन होते हैं.

उदाहरण के लिए

मान लीजिये आज आपकी उम्र 30 साल है. आने वाले 30 साल बाद आपको एक बड़ी रकम की आवश्यकता होगी. तो ऐसे में आप केवल 3500 रुपये हर महीने निवेश करिए. जो 30 साल तक जारी रहेगा. इस स्कीम में आपको सालाना 12 प्रतिशत का रिटर्न मिल सकता है. ऐसे में 30 साल बाद जब आप 60 साल के होंगे तब आपके पास लगभग 1.23 करोड़ रुपये एकत्रित हो जाएंगे.

फिर करें निवेश
मैच्योरिटी के समय मिले इन 1.23 करोड़ रुपये को आपको फिर से किसी ऐसी जगह निवेश करना है जहाँ से हर महीने का ब्याज मिल सके. यदि इस राशि पर आपको सालाना 5 प्रतिशत का भी ब्याज मिलता है तो हर महीने आपको आराम से 50 हजार रूपए मिल जाएंगे. यानी तीस स्मार्ट निवेश साल तक हर महीने केवल 3500 रुपये के निवेश के बाद आप बुढापे में हर महीने पचास हजार रूपये पा सकते हैं. इससे आपकी आर्थिक स्थिति मजबूत हो जाएगी और आपको किसी के ऊपर आश्रित नहीं रहना होगा.

म्यूचल फंड में है जोखिम
म्यूचल फंड में निवेश बाजार में जोखिमों पर निर्भर करता है. इसीलिए निवेश से पहले आप किसी विशेषज्ञ की सलाह जरुर ले, या फिर सोच समझकर फंड का चुनाव करें, ताकि आपको घाटे का सामना नहीं करना पड़े.

मेक इन इंडिया

मुख्य पृष्ठ

भारतीय अर्थव्यवस्था देश में मजबूत विकास और व्यापार के समग्र दृष्टिकोण में सुधार और निवेश के संकेत के साथ आशावादी रुप से बढ़ रही है । सरकार के नये प्रयासों एवं पहलों की मदद से निर्माण क्षेत्र में काफी सुधार हुआ है । निर्माण को बढ़ावा देने एवं संवर्धन के लिए माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी ने 25 सितम्बर 2014 को 'मेक इन इंडिया' कार्यक्रम की शुरुआत की जिससे भारत को महत्वपूर्ण निवेश एवं निर्माण, संरचना तथा अभिनव प्रयोगों के वैश्विक केंद्र के रुप में बदला जा सके।

'मेक इन इंडिया' मुख्यत: निर्माण क्षेत्र पर केंद्रित है लेकिन इसका उद्देश्य देश में उद्यमशीलता को बढ़ावा देना भी है। इसका दृष्टिकोण निवेश के लिए अनुकूल माहौल बनाना, आधुनिक और कुशल बुनियादी संरचना, विदेशी निवेश के लिए स्मार्ट निवेश नये क्षेत्रों को खोलना और सरकार एवं उद्योग के बीच एक साझेदारी का निर्माण करना है।

'मेक इन इंडिया' पहल के संबंध में देश एवं विदेशों से सकारात्मक प्रतिक्रिया प्राप्त हुई है। अभियान के शुरु होने के समय से इसकी वेबसाईट पर बारह हजार से अधिक स्मार्ट निवेश सवाल इनवेस्ट इंडिया के निवेशक सुविधा प्रकोष्ठ द्वारा प्राप्त किया गया है। जापान, चीन, फ्रांस और दक्षिण कोरिया जैसे देशों नें विभिन्न औद्योगिक और बुनियादी ढांचा परियोजनाओं में भारत में निवेश करने हेतु अपना समर्थन दिखाया है। 'मेक इन इंडिया' पहल के तहत निम्नलिखित पचीस क्षेत्रों - बाहरी वेबसाइट जो एक नई विंडो में खुलती है की पहचान की गई है:

चुनौतियों का सामना

सरकार ने भारत में व्यवसाय करने की प्रक्रिया को सरल बनाने के लिए कई कदम उठाये हैं। कई नियमों एवं प्रक्रियाओं को सरल बनाया गया है एवं कई वस्तुओं को लाइसेंस की जरुरतों से हटाया गया है।

सरकार का लक्ष्य देश में संस्थाओं के साथ-साथ अपेक्षित सुविधाओं के विकास द्वारा व्यापार के लिए मजबूत बुनियादी सुविधाएं उपलब्ध कराना है। सरकार व्यापार संस्थाओं के लिए अत्याधुनिक प्रौद्योगिकी उपलब्ध कराने के लिए औद्योगिक गलियारों और स्मार्ट सिटी का विकास करना चाहती है। राष्ट्रीय कौशल विकास मिशन - बाहरी वेबसाइट जो एक नई विंडो में खुलती है के माध्यम से कुशल मानव शक्ति प्रदान करने के प्रयास किये जा रहे हैं। पेटेंट एवं ट्रेडमार्क पंजीकरण प्रक्रिया के बेहतर प्रबंधन के माध्यम से अभिनव प्रयोगों को प्रोत्साहित किया जा रहा है।

कुछ प्रमुख क्षेत्रों को अब प्रत्यक्ष विदेशी निवेश के लिए खोल दिया गया है। रक्षा क्षेत्र में नीति को उदार बनाया गया है और एफडीआई की सीमा को 26% से 49% तक बढ़ाया गया है। अत्याधुनिक प्रौद्योगिकी के लिए रक्षा क्षेत्र में 100% एफडीआई को अनुमति दी गई है। रेल बुनियादी ढांचा परियोजनाओं में निर्माण, संचालन और रखरखाव में स्वचालित मार्ग के तहत 100% एफडीआई की अनुमति दी गई है। बीमा और चिकित्सा उपकरणों के लिए उदारीकरण मानदंडों को भी मंजूरी दी गई है।

29 दिसंबर 2014 को आयोजित राष्ट्रीय कार्यशाला में विभिन्न हितधारकों के साथ विस्तृत चर्चा के बाद उद्योग से संबंधित मंत्रालय प्रत्येक क्षेत्र के विशिष्ट लक्ष्यों पर काम कर रहे हैं। इस पहल के तहत प्रत्येक मंत्रालय ने अगले एक एवं तीन साल के लिए कार्यवाही योजना की पहचान की है।

कार्यक्रम 'मेक इन इंडिया' निवेशकों और उनकी उम्मीदों से संबंधित भारत में एक व्यवहारगत बदलाव का प्रतिनिधित्व करता है। 'इनवेस्ट इंडिया' में एक निवेशक सुविधा प्रकोष्ठ का गठन किया गया है। नये निवेशकों को सहायता प्रदान करने के लिए एक अनुभवी दल भी निवेशक सुविधा प्रकोष्ठ में उपलब्ध है।

निर्माण को बढ़ावा देने के लिए लक्ष्य

  • मध्यम अवधि में निर्माण क्षेत्र की वृद्धि दर में प्रति वर्ष 12-14% वृद्धि करने का उद्देश्य
  • 2022 तक देश के सकल घरेलू उत्पाद में विनिर्माण की हिस्सेदारी में 16% से 25% की वृद्धि
  • विनिर्माण क्षेत्र में वर्ष 2022 तक 100 मिलियन अतिरिक्त रोजगार के अवसर पैदा करना
  • समावेशी विकास के लिए ग्रामीण प्रवासियों और शहरी गरीबों के बीच उचित कौशल का निर्माण
  • घरेलू मूल्य संवर्धन और निर्माण में तकनीकी गहराई में वृद्धि
  • भारतीय विनिर्माण क्षेत्र की वैश्विक प्रतिस्पर्धा बढ़ाना
  • विशेष रूप से पर्यावरण के संबंध में विकास की स्थिरता सुनिश्चित करना

आर्थिक विकास के आगे की दिशा

  • भारत ने अपनी उपस्थिति दुनिया की सबसे तेजी से बढ़ती अर्थव्यवस्थाओं में से एक के रूप दर्ज करायी है
  • 2020 तक इसे दुनिया की शीर्ष तीन विकास अर्थव्यवस्थाओं और शीर्ष तीन निर्माण स्थलों में गिने जाने की उम्मीद है
  • अगले 2-3 दशकों के लिए अनुकूल जनसांख्यिकीय लाभांश। गुणवत्तापूर्ण कर्मचारियों की निरंतर उपलब्धता।
  • जनशक्ति की लागत अन्य देशों की तुलना में अपेक्षाकृत कम है
  • विश्वसनीयता और व्यावसायिकता के साथ संचालित जिम्मेदार व्यावसायिक घराने
  • घरेलू बाजार में मजबूत उपभोक्तावाद
  • शीर्ष वैज्ञानिक और तकनीकी संस्थानों द्वारा समर्थित मजबूत तकनीकी और इंजीनियरिंग क्षमतायें
  • विदेशी निवेशकों के लिए खुले अच्छी तरह विनियमित और स्थिर वित्तीय बाजार

भारत में परेशानी मुक्त व्यापार

'मेक इन इंडिया' इंडिया' एक क्रांतिकारी विचार है जिसने निवेश एवं नवाचार को बढ़ावा देने, बौद्धिक संपदा की रक्षा करने और देश में विश्व स्तरीय विनिर्माण बुनियादी ढांचे का निर्माण करने के लिए प्रमुख नई पहलों की शुरूआत की है। इस पहल नें भारत में कारोबार करने की पूरी प्रक्रिया को आसान बना दिया है। नयी डी-लाइसेंसिंग और ढील के उपायों से जटिलता को कम करने और समग्र प्रक्रिया में गति और पारदर्शिता काफी बढ़ी हैं।

अब जब व्यापार करने की बात आती है तो भारत काफी कुछ प्रदान करता है। अब यह ऐसे सभी निवेशकों के लिए आसान और पारदर्शी प्रणाली प्रदान करता है जो स्थिर अर्थव्यवस्था और आकर्षक व्यवसाय के अवसरों की तलाश कर रहे हैं। भारत में निवेश करने के लिए यह सही समय है जब यह देश सभी को विकास और समृद्धि के मामले में बहुत कुछ प्रदान कर रहा है।

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